उत्तर प्रदेश पुलिस विभाग से गजब का मामला सामने आया है जिसमें जीजा और साले का खेल खुलकर सबके सामने आ गया है।आपको बता दें कि उत्तराखण्ड बोडर मैं मुजफ्फरनगर के खतौली का रहने वाला अनिल कुमार ने 2011 में बरेली से पुलिस भर्ती के लिए आवेदन किया था, वो वहां ट्रेनिंग के दौरान फैल हो गया था, तब अनिल कुमार ने 2012 में मेरठ में हुई पुलिस भर्ती में आवेदन किया, लेकिन वहां भी वो फेल हो गया। 2012 नवंबर में तीसरी बार अनिल कुमार ने गोरखपुर में आवेदन किया, जहां उसका चयन आरक्षी के लिये हो गया। ट्रेनिंग पूरी करने के बाद अनिल कुमार को पहली बरेली में पोस्टिंग मिली, और वही अनिल कुमार ड्यूटी पर तैनाती मिली, लेकिन जब अनिल कुमार का तबादला पुलिस नियम के मुताबिक बरेली रेंज से मुरादाबाद रेंज किया गया तो यहां से साजिश का खेल शुरू हुआ। मुरादाबाद रेंज में तबादला होने के बाद शातिर पुलिसकर्मी अनिल कुमार ने अपने स्थान पर ही अपने सगे साले अनिल सोनी को मुरादाबाद बुलाया और बरेली से जारी अपने प्रस्थान आदेश की कॉपी लेकर मुरादाबाद के पुलिस अधिकारियों के सामने पेश किया। जहां से अनिल कुमार के स्थान पर अनिल सोनी की आमद को दर्ज कर लिया गया, लेकिन भर्ती करने वाले पुलिस अधिकारी ने फोटो का मिलान नहीं किया। जिसके बाद अनिल कुमार के स्थान पर अनिल सोनी ड्यूटी करने लगा। शातिर अनिल कुमार ने ट्रेनिंग के दौरान जो पुलिस के तरीके थे चाहे वो सरकारी हथियार चलाने के हों या अधिकारियों को सैल्यूट करने के उन सब की ट्रेनिंग अपने सगे साले अनिल सोनी को अपने ही घर पर दे दी।
गढ़वाली कुमाउनी वार्ता
समूह संपादक