धनतेरस के दिन हुए अग्निकाण्ड मे झूलसे 4 ग्रामीणों ने ऋषिकेश एम्स मे इलाज के दौरान तोड़ा दम
धनतेरस की रात बागेश्वर के गरुड़ ब्लॉक के रणकुड़ी गांव में आग से झुलसे ग्यारह ग्रामीणों में से चार ग्रामीणों की उपचार के दौरान ऋषिकेश एम्स व इंद्रेश हॉस्पिटल देहरादून में मौत हो गई है। सूचना मिलते ही गांव में शोक की लहर दौड़ गई। मृतकों के स्वजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। धनतेरस की रात बागेश्वर के गरुड़ ब्लॉक के रणकुड़ी गांव में आग से झुलसे ग्यारह ग्रामीणों में से चार ग्रामीणों की उपचार के दौरान ऋषिकेश एम्स व इंद्रेश हॉस्पिटल देहरादून में मौत हो गई है। सूचना मिलते ही गांव में शोक की लहर दौड़ गई। मृतकों के स्वजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। शोकाकुल ग्रामीण इस घटना के मंजर को याद कर आज भी दहशत में हैं।
बता दे कि धनतेरस की रात राजस्व पुलिस क्षेत्र नौगांव के अंतर्गत रणकुड़ी गांव में नशे में धुत आरोपी कुंदन नाथ ने नारायण गिरी के घर में गैस सिलिंडर का रेगुलेटर खोलकर आग लगा दी थी, तब ग्यारह लोग आग से झुलसकर घायल हो गए थे। एक घायल को सीएचसी बैजनाथ में प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी थी। शेष घायलों को जिला अस्पताल बागेश्वर और फिर सुशीला तिवारी हल्दवानी रेफर कर दिया गया था। उसके बाद चार घायलों को ऋषिकेश एम्स रेफर व पांच घायलों को इंद्रेश हॉस्पिटल देहरादून रेफर किया गया। उपचार के दौरान भगवती देवी (65) ने ऋषिकेश एम्स व जीवन (गिरी)(22), विनोद गिरी(21),मुन्नी देवी पत्नी नारायण गिरी उम्र (42) ने बुधवार की देर शाम इंद्रेश हॉस्पिटल देहरादून में दम तोड़ दिया। घायलों की मौत की खबर सुनते ही गांव में कोहराम मच गया। स्वजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। राजस्व उप निरीक्षक कुंदन मेहता ने बताया कि रनकुनी गांव के 4 ग्रामीणों की ईलाज के दौरान मौत हो गई । निरिक्षक ने बताया कि अन्य घायलों की हालत भी गंभीर बनी हुई है।
जिला आपदा कार्यालय के अनुसार, आरोपी कुंदन नाथ (33) ने एक अन्य ग्रामीण नारायण गिरी के साथ तीखी नोक झोंक के बाद खुद को एक कमरे के अंदर बंद कर लिया था, जब दोनों परिवारों ने कुंदन को दरवाजा खोलने के लिए मनाने की कोशिश की, तो उसने कमरे में गैस सिलेंडर में आग लगा दी। आग ने कमरे को अपनी चपेट में ले लिया, जिससे उसके परिवार के सदस्यों सहित कई लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।
गढ़वाली कुमाउनी वार्ता
समूह संपादक